योगी आदित्यनाथ ने तोड़े तीन अपशकुन, नोएडा, बिजनौर और आगरा में अपने अनुभव साझा किए
लखनऊ, अभय सिंह राठौड़: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को नोएडा दौरे के दौरान अपनी हिम्मत और प्रशासनिक दृष्टिकोण के बारे में खुलकर बात की। इस अवसर पर उन्होंने पूर्व सांसद रमेश चंद्र तोमर की पुस्तक ‘भारतवर्ष की स्वर्णाभा नरेंद्र मोदी’ का विमोचन भी किया।
सीएम योगी ने बताया कि कैसे उन्होंने तीन बड़े अपशकुन – नोएडा दौरा, बिजनौर में रात गुजारना और आगरा के कथित भूतिया सर्किट हाउस में ठहरना – को चुनौती दी और उन्हें तोड़ा। उन्होंने इसे सिर्फ व्यक्तिगत साहस नहीं, बल्कि समाज और राष्ट्र के हित में निर्णय बताकर उदाहरण पेश किया।
1. नोएडा दौरा – अपशकुन को चुनौती
योगी आदित्यनाथ ने कहा कि पहले कहा जाता था कि गौतमबुद्ध नगर (नोएडा) दौरा करने वाला मुख्यमंत्री दोबारा नहीं बन पाएगा।
“गौतमबुद्ध नगर को लूट का अड्डा बना दिया गया था। यह जगह बेईमानी और भ्रष्टाचार का केंद्र बन गई थी। जो लोग लूटखसोट में लिप्त थे, उन्होंने अफवाह फैलाई कि जो मुख्यमंत्री वहां जाएंगे, वह दोबारा नहीं बन पाएंगे। मैंने सोचा कि जो कल जाना है वो आज चले जाए, लेकिन मैं जरूर जाऊंगा।”
सीएम ने कहा कि उन्होंने पहली बार मुख्यमंत्री बनने के बाद नोएडा का दौरा किया और इस अपशकुन को तोड़ा। उन्होंने यह भी बताया कि पहला मुख्यमंत्री होने के नाते जो पांच साल पूरे कर चुके हैं, उन्हें फिर से जनता ने चुनकर मुख्यमंत्री बनाया, जिससे यह साबित होता है कि डर और अफवाहें रास्ते में बाधा नहीं बन सकतीं।
2. बिजनौर में रात गुजारना – साहसिक निर्णय
बिजनौर में कहा जाता था कि मुख्यमंत्री को वहां रात नहीं रुकनी चाहिए। लेकिन योगी आदित्यनाथ ने इसे चुनौती मानते हुए बिजनौर के गेस्ट हाउस में रात गुजारी।
“जिलाधिकारी ने कहा कि यहां होटल अच्छे नहीं हैं। मैंने कहा कि मैं होटल में नहीं रुकता, गेस्ट हाउस होगा या किसी कार्यकर्ता के घर में, लेकिन मैं जरूर रुकूंगा। पीडब्ल्यूडी का गेस्ट हाउस पुराना है, लेकिन किसी प्रकार की बाधा मुझे रोक नहीं सकती।”
सीएम के इस निर्णय ने यह संदेश दिया कि सही कार्य और जनता की भलाई के लिए किसी भी प्रकार की डर या अफवाह बाधा नहीं बन सकती।
3. आगरा का कथित भूतिया सर्किट हाउस
आगरा के सर्किट हाउस को लेकर भी कई अफवाहें थीं कि वहां भूत हैं, इसलिए मुख्यमंत्री को रात नहीं रुकनी चाहिए। योगी आदित्यनाथ ने इसे चुनौती मानकर वही रात बिताई।
“उस भूत से साक्षात्कार करने के लिए ही मैं आया हूं। जब कोई जिद हो तो कोई बाधा आपके मार्ग की बाधा नहीं बन सकती है। यह जिद व्यक्तिगत स्वार्थ के लिए नहीं, बल्कि समाज और राष्ट्र के हित में होनी चाहिए।”
सीएम ने कहा कि विकास और समाज कल्याण की दिशा में जिद होनी चाहिए, न कि व्यक्तिगत स्वार्थ की।
सीएम योगी का संदेश – जिद और विकास
योगी आदित्यनाथ ने जोर देकर कहा कि सफलता पाने के लिए डर, अफवाह या अपशकुन को चुनौती देना आवश्यक है।
“काम वही होना चाहिए जो देश और समाज के लिए उपयुक्त हो। यही जिद और हिम्मत विकास की नींव है। अगर आपका उद्देश्य समाज और राष्ट्र की भलाई है, तो कोई भी बाधा आपके मार्ग में नहीं रुक सकती।”
सीएम योगी का यह संदेश स्पष्ट करता है कि साहस, जिद और समाज कल्याण के उद्देश्य से कोई भी चुनौती छोटी नहीं लगती।
निष्कर्ष
योगी आदित्यनाथ के अनुभव यह दिखाते हैं कि राजनीति और प्रशासन में साहस, नीति और जनता की भलाई के लिए किए गए निर्णय सबसे महत्वपूर्ण हैं। उनके अनुसार, अपशकुन और अफवाहें केवल मानसिक बाधाएं हैं, जिन्हें पार करके ही विकास और सफलता संभव है।

Author: Ashu Jha : Bharat Kranti News
Ashu Jha एडिटर, भारत क्रांति न्यूज़ Ashu Jha भारत क्रांति न्यूज़ के एडिटर हैं और निष्पक्ष, सटीक व ज़मीनी पत्रकारिता के लिए पहचाने जाते हैं। वे समाचारों की गुणवत्ता और विश्वसनीयता सुनिश्चित करते हुए टीम का नेतृत्व करते हैं। उनका ध्यान जनता से जुड़े मुद्दों, सरकारी नीतियों के असर और सामाजिक सरोकारों पर रहता है। Ashu Jha का मानना है कि पत्रकारिता केवल सूचना नहीं बल्कि समाज में सकारात्मक परिवर्तन का माध्यम है।